Prerana DBT // 40% अभिभावकों का डाटा सत्यापित नहीं, बेसिक शिक्षा अधिकारियों को प्रक्रिया जल्द पूरी करने के निर्देश

उत्तर प्रदेश के सरकारी और सहायता प्राप्त स्कूलों के विद्यार्थियों को भेजे जाने वाली डीबीटी धनराशि के डाटा सत्यापन में एक दर्जन से ज्यादा जिले फिसड्डी हैं। इनकी प्रगति 50 फ़ीसदी से भी कम है। जिलावार आकलन करें तो 40.34 फ़ीसदी अभिभावकों का डाटा ही सत्यापित हो पाया है।

महा निदेशक स्कूल शिक्षा अनामिका सिंह ने शुक्रवार को जिला बेसिक शिक्षा अधिकारियों को प्रक्रिया जल्द पूरी करने के निर्देश दिए हैं। डीबीटी के रूप में 1100 रुपए भेजे जा रहे हैं। अभी अभिभावकों को इससे यूनिफॉर्म, जूते-मोजे, स्वेटर व स्कूल बैग लेना होगा। डीजी स्कूल शिक्षा ने वीडियो कांफ्रेंसिंग से डाटा सत्यापित ना होने पर नाराजगी जताई।

दरअसल अभी तक 75.80 लाख अभिभावकों का ब्यौरा सत्यापित नहीं हो पाया है। राज्य सरकार ने पहले चरण में 1.20 करोड़ बच्चों के अध्यापकों के खाते में धनराशि भेजी थी। लेकिन कई खाते निष्क्रिय होने के कारण पैसा वापस आ गया। नवंबर के आखिरी हफ्ते में सभी अभिभावकों के खाते में धनराशि भेजने की योजना है। लेकिन 22 लाख से ज्यादा बच्चों के अभिभावकों का आधार सीडेट नहीं है 45.81 लाख अभिभावकों का डाटा शिक्षकों के स्तर पर पेंडिंग है। वही 22.66 लाख बीईओ के स्तर पर सत्यापित नहीं हो पाया है। सात लाख से ज्यादा डाटा का सत्यापन बीएसए के स्तर पर पेंडिंग है।


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