बुखार ने लगाया पढ़ाई पर ब्रेक, स्कूलों में घटी 20 फीसदी उपस्थिति
बरेली: महामारी की दूसरी लहर के बाद पटरी पर आई पढ़ाई पर अब बुखार का असर पड़ रहा है। बुखार के चलते कई इलाकों के स्कूलों में बच्चों की उपस्थिति 10 से 20 फीसदी तक घट गई है। रोजाना कई बच्चे स्कूल आकर बुखार के चलते छुट्टी लेकर चले जा रहे हैं। प्राथमिक शिक्षक संघ ने गांव-गांव कैंप लगाकर दवा वितरित करने की मांग की है।कोरोना के चलते पढ़ाई पर काफी बुरा असर पड़ा। कोरोना का संक्रमण कम होने के बाद अगस्त से लेकर सितंबर तक क्रमिक रूप से स्कूल खोले गए। स्कूल खुलते ही बच्चों की भीड़ टूट पड़ी। बंपर प्रवेश होने के साथ ही उपस्थिति के प्रतिशत ने भी सारे रिकार्ड तोड़ दिए। सामान्य तौर पर बेसिक स्कूलों में बच्चों की उपस्थिति 50 से 60 फीसदी तक ही होती है। लगभग डेढ़ वर्ष बाद स्कूल खुले तो उपस्थिति 80 फीसदी के भी पार पहुंच गई। बीते दस दिनों से उपस्थिति एक बार फिर से कम हुई तो जागरुक शिक्षक चिंतित हो उठे। अभयपुर, मानपुर, जोगीठेर आदि गांवों में जब शिक्षकों ने अभिभावकों के घर जाकर संपर्क साधा तो बुखार से पीड़ित बच्चों की संख्या पता चली। यह संख्या कम होने की जगह लगातार बढ़ रही है।भोजीपुरा ब्लाक के माडल प्राइमरी स्कूल अभयपुर के प्रधानाध्यापक मधुरेश दीक्षित ने बताया, स्कूल में सामान्य तौर पर 85 से 95 फीसदी तक छात्र-छात्राएं उपस्थित रहते हैं। एक-दो सप्ताह से उपस्थिति कम हुई तो मैंने गांव में घर-घर जाकर अभिभावकों से संपर्क किया। पता चला कि अधिकांश बच्चे बुखार की चपेट में है। उनके माता-पिता को संचारी रोगों की जानकारी देते हुए साफ-सफाई के प्रति जागरुक किया।