पेंशन का विकल्प चुनने के बाद इसे बदल नहीं पाएंगे

पेंशन का विकल्प चुनने के बाद इसे बदल नहीं पाएंगे
आदरणीय शिक्षकगण आप हमारे Whatsapp Group एवं टेलीग्राम से जुड़ सकते है!
Whatsapp ग्रुप Join करें। टेलीग्राम:Telegram ग्रुप Join करें।Whatsapp Channel Link– Whatsapp चैनल Join करें।
नई दिल्ली, पेंशन कोष नियामक और विकास प्राधिकरण (पीएफआरडीए) ने केंद्रीय कर्मचारियों के लिए लाई जा रही एकीकृत पेंशन योजना (यूपीएस) की अधिकांश शर्तें निर्धारित कर दी हैं। गुरुवार को जारी अधिसूचना में स्पष्ट किया गया है कि कर्मचारियों को यह विकल्प मिलेगा कि वे एनपीएस के तहत यूपीएस का विकल्प चुनें या बिना यूपीएस विकल्प के एनपीएस को जारी रखें। एक बार विकल्प चुनने के बाद उसमें बदलाव नहीं किया जा सकेगा।
इसी के साथ, जिन कर्मचारी को सेवा से हटाया गया है या बर्खास्त किया गया है, या इस्तीफा लिया गया है, उन्हें यूपीएस या सुनिश्चित भुगतान विकल्प उपलब्ध नहीं होगा।
कैसे करें आवेदन:
सभी श्रेणियों के लिए नामांकन और दावा फॉर्म प्रोटीन सीआरए की वेबसाइट (https://www.npscra.nsdl.co.in/) पर ऑनलाइन उपलब्ध होंगे। कर्मचारियों के पास फॉर्म को भौतिक रूप से जमा करने का विकल्प भी होगा।

वीआरएस मामला:
स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति (वीआरएस) लेने वाले कर्मी भी यूपीएस ले सकते हैं लेकिन उनके लिए 25 साल की सेवा का प्रावधान लागू होगा। मतलब यह है कि उन्हें 60 साल की उम्र तक पूरी होने का इंतजार करना होगा। इसके बाद यूपीएस से जुड़ सकेंगे लेकिन इस दौरान उन्हें बाकी सुविधाएं मिलती रहेंगी।
कैसे शामिल हो सकते हैं
- वर्तमान कर्मचारी: एक जनवरी 2004 के बाद सरकारी सेवा में शामिल मौजूदा कर्मचारी, जिन्होंने एनपीएस को चुना है, वे यूपीएस को चुन सकते हैं। उन्हें फॉर्म ए2 भरना होगा।
- नए भर्ती कर्मचारी : एक अप्रैल 2025 को या इसके बाद सेवा में शामिल होने वाले नए कर्मचारी भी इस विकल्प को चुन सकते हैं। उन्हें फॉर्म ए1 भरना होगा।
- सेवानिवृत्त कर्मी : जो कर्मचारी सेवानिवृत्त हो चुके हैं और जो एनपीएस से जुड़े थे, वे भी यूपीएस में शामिल हो सकते हैं। उन्हें फॉर्म बी 2 जमा करना होगा।
- कर्मचारी की मृत्यु होने पर : कर्मचारी की मृत्यु की स्थिति में, कानूनी रूप से विवाहित पति या पत्नी को फॉर्म बी6 भरना होगा।