प्राथमिक विद्यालयों में पंजीकरण में फर्जीवाड़ा रोकेगा चाइल्ड ट्रैकिंग सिस्टम,हर बच्चे का होगा आधार पंजीकरण
लखनऊ:- प्राथमिक विद्यालयों में नामांकन में फर्जीवाड़ा रोकने के लिए प्रदेश सरकार ने मुकम्मल व्यवस्था की है। इसके लिए चाइल्ड ट्रैकिंग सिस्टम लागू कर दिया गया है। साथ ही इन सभी विद्यार्थियों का शत-प्रतिशत आधार पंजीकरण भी कराया जाएगा।
दो करोड़ नामांकन का लक्ष्य
बेसिक शिक्षा परिषद के इन विद्यालयों में किए जा रहे सुधारों के बाद बच्चों का नामांकन तेजी से बढ़ा है। इन विद्यालयों में सत्र 2016-17 में यह संख्या 1.52 करोड़ थी जो सत्र 2020-21 में बढ़कर एक करोड़ 73 लाख तक पहुंच गई है। योगी सरकार 2.0 में सत्र 2022-23 में दो करोड़ बच्चों के नामांकन का लक्ष्य हासिल करने का फैसला किया है। साथ ही फर्जीवाड़ा रोकने की भी पूरी व्यवस्था की गई है। चाइल्ड ट्रैकिंग सिस्टम लागू किए जाने पर अब फर्जी नामांकन नहीं हो सकेगा। सर्व शिक्षा अभियान के तहत लागू इस सिस्टम में छात्रों का पूरा रिकॉर्ड ‘यू-डायस के जरिए आनलाइन होगा। इस रिकॉर्ड के साथ विद्यार्थियों के आधार भी लिंक होंगे। अगले दो साल में इस सिस्टम से प्रदेश में पढ़ने वाले सभी छात्र-छात्राओं को जोड़ा जाएगा।
छह माह में पाइप से पेयजल की आपूर्ति
परिषदीय विद्यालयों के कायाकल्प में जुटी योगी सरकार इन विद्यालयों को पाइप से शुद्ध पेयजल की आपूर्ति भी करेगी। अगले छह माह में पाइप से जलापूर्ति कराने के साथ ही सरकार सभी परिषदीय विद्यालयों में शौचालय भी तैयार कराएगी। अभी तक इन विद्यालयों में पीने के पानी के लिए इंडिया मार्का हैंडपंप पर निर्भर रहना पड़ता है। कुछ विद्यालयों में पानी की टंकियां भी लगी हैं, लेकिन अब सरकार ने पाइप से पेयजल की आपूर्ति करने की योजना तैयार की है। इसी तरह अगले दो वर्षों में 50 हजार विद्यालयों में फर्नीचर और 42 हजार में स्मार्ट क्लास की स्थापना की जाएगी।
शिक्षकों को कैशलेस इलाज की सुविधा
योगी सरकार ने छह माह में परिषदीय शिक्षकों को कैशलेस इलाज की सुविधा देने का फैसला किया है। इसी तरह अगले छह माह तक छात्र-छात्राओं के यूनिफॉर्म, बैग, स्वेटर व जूता-मोजा का पैसा डीबीटी के माध्यम से उनके माता-पिता या अभिभावक के खाते में भेजा जाएगा।